एमपी में रमजान के आखिरी जुमे की नमाज के दौरान वक्फ बिल के विरोध में काली पट्टी बांधकर प्रदर्शन किया गया. - AWAM AUR KHABAR

BREAKING

एमपी में रमजान के आखिरी जुमे की नमाज के दौरान वक्फ बिल के विरोध में काली पट्टी बांधकर प्रदर्शन किया गया.

 


 

मध्य प्रदेश में शुक्रवार (28 मार्च) को रमजान के आखिरी जुमे (अलविदा) की नमाज के दौरान केंद्र सरकार के वक्फ कानून में संशोधन के विरोध में काली पट्टी बांधकर विरोध प्रदर्शन किया गया और इस बीच यहां झड़प भी हुई. अधिकारियों ने यह जानकारी दी. यहां एक अधिकारी ने बताया कि रायसेन जिला मुख्यालय से करीब 80 किलोमीटर दूर बेगमगंज स्थित मकबरा मस्जिद में झड़प हो गई. इसमें तीन लोग घायल हो गए हैं, जिन्हें इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है.


उपनिरीक्षक राजकुमार सिंह चौधरी ने बताया, "दोपहर करीब एक बजे जुमे की नमाज के दौरान मुस्लिम महोत्सव समिति के अध्यक्ष शकील अहमद और सैयद सावेश अली के बीच विरोध प्रदर्शन के तौर पर काली पट्टी बांधने को लेकर विवाद हो गया. जिसके कारण हुई झड़प में कथित रूप से चाकूओं का इस्तेमाल किया गया और मस्जिद के फर्श पर खून फैल जाने से नमाज में एक घंटे की देरी हुई."

कुछ लोग गिरफ्तार
बेगमगंज थाने के निरीक्षक राजीव उइके ने बताया कि इस सिलसिले में कुछ लोगों को गिरफ्तार किया गया है और जांच की जा रही है. पुलिस ने बताया कि भोपाल में शहर काजी मुश्ताक अली नदवी साहब और शहर मुफ्ती मौलाना मुफ्ती अब्दुल कलाम साहब ने काली पट्टी बांधकर नमाज अदा की. भोपाल के ताज-उल-मस्जिद और इकबाल मैदान मस्जिद में हजारों की संख्या में लोग नमाज के लिए जुटे, और काली पट्टी बांधकर अपनी नाराजगी जाहिर की.

इस मौके पर भोपाल के काजी सैयद अनस अली ने कहा, "वक्फ अमेंडमेंट बिल वक्फ की संपत्तियों को हड़पने के लिए लाया जा रहा है. यह बिल मुस्लिमों के हित में नहीं है. यह सुनियोजित तरीके से उद्योगपतियों को लाभ पहुंचाने और मुसलमानों की वक्फ संपत्तियों को हड़पने की साजिश है. हम अपनी संपत्तियों की हिफाजत हर हाल में करेंगे."

यह विरोध प्रदर्शन एक दिन पहले ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (AIMPLB) की ओर से किए गए आह्वान के जवाब में किया गया था. एक प्रदर्शनकारी ने दावा किया कि संशोधन से मुस्लिम समुदाय का मस्जिदों, दरगाहों, मदरसों, कब्रिस्तानों और कई अन्य संस्थाओं पर नियंत्रण खत्म हो जाएगा. 

Pages